IGNOU DIPP 2025: इग्नू ने डिप्लोमा इन पैरालीगल प्रैक्टिस कोर्स में प्रवेश के लिए छात्रों से मांगे आवेदन
डीआईपीपी प्रोग्राम 2025 के इच्छुक उम्मीदवार आवेदन प्रक्रिया के लिए इग्नू की आधिकारिक वेबसाइट www.ignou.ac.in पर विजिट कर सकते हैं।
Abhay Pratap Singh | January 17, 2025 | 01:53 PM IST
नई दिल्ली: इंदिरा गांधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय (IGNOU) ने जनवरी 2025 के प्रवेश सत्र में डिप्लोमा इन पैरालीगल प्रैक्टिस (DIPP) में प्रवेश के लिए छात्रों से आवेदन मांगे हैं। ओपन एंड डिस्टेंस लर्निंग (ODL) मोड के रूप में तैयार किया गया पैरालीगल प्रैक्टिस व्यावसायिक स्नातकोत्तर डिप्लोमा अंग्रेजी और हिंदी दोनों भाषाओं में उपलब्ध है।
पैरालीगल प्रैक्टिस में स्नातकोत्तर डिप्लोमा का उद्देश्य शिक्षार्थियों को आवश्यक पैरालीगल कौशल से लैस करना है, जो उन्हें भारतीय कानूनी प्रणाली को प्रभावी ढंग से संचालित करने और उपयोग करने के लिए सक्षम बनाना है। गरिमा, समानता और न्याय के संवैधानिक सिद्धांतों पर आधारित यह कार्यक्रम कानूनी सहायता की संवैधानिक गारंटी पर जोर देकर सामाजिक-आर्थिक असमानताओं को दूर करने के लिए बनाया गया है।
इग्नू में पैरालीगल प्रैक्टिस इन डिप्लोमा कोर्स के लिए आवेदन करने के लिए उम्मीदवारों के पास 10+2 या इसके समकक्ष योग्यता होनी चाहिए। पैरालीगल प्रैक्टिस कोर्स की अवधि 1 से 3 साल तक है। इस कार्यक्रम की फीस 8,400 रुपये है। इच्छुक उम्मीदवार आवेदन प्रक्रिया के लिए www.ignou.ac.in पर विजिट कर सकते हैं।
विश्वविद्यालय द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति में बताया कि, डीआईपीपी न्यायिक और कानूनी प्रणालियों की कार्यात्मक समझ प्रदान करेगा और कानूनी प्रणालियों तक प्रभावी ढंग से पहुंचने और उनका उपयोग करने के लिए बुनियादी कौशल विकसित करने में मदद करेगा। अधिक जानकारी के लिए इग्नू की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं।
Diploma in Paralegal Practice 2025: करियर के अवसर
इस कार्यक्रम के स्नातक पैरालीगल के रूप में विभिन्न क्षेत्रों जैसे सहायक वकीलों, कानून फर्मों और गैर सरकारी संगठनों के रूप में रोजगार के अवसर तलाश सकते हैं, जिनमें लीगल रिसर्च एंड ड्राफ्टिंग, क्लाइंट इंटरव्यू और एडवोकेसी एंड पब्लिक अवेयरनेस इनिशिएटिव शामिल है।
IGNOU Diploma in Paralegal Practice: डिप्लोमा कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य
पैरालीगल प्रैक्टिस में डिप्लोमा के उद्देश्यों की जांच नीचे कर सकते हैं:
- कानूनी एवं न्यायिक प्रणालियों तथा व्यक्तियों को प्रतिदिन प्रभावित करने वाले कानूनों की मजबूत समझ विकसित करना।
- कानूनी संस्थाओं और न्यायिक प्रक्रियाओं तक पहुंचने के लिए आधारभूत कौशल प्रदान करना।
- व्यक्तियों को सार्वजनिक वकालत में शामिल होने के लिए सशक्त बनाना।
- कमजोर आबादी और कानूनी प्रणाली के बीच की दूरी को समाप्त करने के लिए “बेयरफुट लॉयर्स” का एक कैडर बनाएं।
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