आरटीई और पीएम-पोषण के तहत जरूरतमंद बच्चों को मिलें मुफ्त सुविधाएं, शिक्षा मंत्रालय का निर्देश
Santosh Kumar | June 13, 2024 | 06:11 PM IST | 2 mins read
इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि CWSN सहित सभी बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा मिले। इससे उनके शिक्षा के अधिकार को पूरा किया जा सकेगा और समावेशी शिक्षा को बढ़ावा मिलेगा।
नई दिल्ली: एनईपी 2020 के विजन को साकार करने के लिए शिक्षा मंत्रालय के स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग (DoSEL) ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को एडवाइजरी जारी की है। इसके तहत विशेष आवश्यकता वाले बच्चों (CWSN) को आरटीई के तहत मुफ्त यूनिफॉर्म, मुफ्त पाठ्यपुस्तकें उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए हैं। मंत्रालय ने समग्र शिक्षा योजना और पीएम पोषण के तहत मिड-डे मील उपलब्ध कराने की सलाह दी है।
शिक्षा मंत्रालय की ओर से जारी नोटिस में समाज कल्याण विभाग के तहत विशेष स्कूलों में पढ़ने वाले दिव्यांग छात्रों और घर पर रहकर पढ़ाई कर रहे गंभीर और बहुदिव्यांग छात्रों की पोषण संबंधी जरूरतों को विशेष रूप से ध्यान में रखा गया है। इसके लिए केंद्र प्रायोजित पीएम पोषण योजना का दायरा बढ़ाया गया है, जिससे इन छात्रों को सूखा राशन या प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (डीबीटी) के रूप में मदद मिलेगी।
इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि CWSN सहित सभी बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा मिले। इससे उनके शिक्षा के अधिकार को पूरा किया जा सकेगा और समावेशी शिक्षा को बढ़ावा मिलेगा। राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 में कहा गया है कि शिक्षा प्रणाली का लक्ष्य सभी बच्चों, विशेषकर विकलांग बच्चों की समानता और समावेश होना चाहिए। मंत्रालय की समग्र शिक्षा योजना एनईपी 2020 के उद्देश्यों के साथ पूरी तरह से मेल खाती है।
Also read NEET UG 2024: नीट यूजी काउंसलिंग 6 जुलाई से; शिक्षा मंत्री ने किया पेपर लीक की अटकलों का खंडन
बता दें कि निःशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा का अधिकार (आरटीई) अधिनियम, 2009 के अनुसार, 6 से 14 वर्ष की आयु के सभी बच्चों को निःशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा का अधिकार है। इस आरटीई पात्रता के लिए वित्तीय सहायता केंद्र द्वारा प्रायोजित समग्र शिक्षा योजना के तहत राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को दी जाती है।
इसमें फ्री यूनिफॉर्म, निःशुल्क पाठ्यपुस्तकें, आरटीई अधिनियम की धारा 12(1)(c) के तहत 25% प्रवेशों के लिए व्यय की प्रतिपूर्ति और स्कूल न जाने वाले बच्चों के लिए विशेष प्रशिक्षण शामिल है।
समग्र शिक्षा कार्यक्रम के अंतर्गत समावेशी शिक्षा (आईई) घटक का उद्देश्य CWSN (विशेष आवश्यकता वाले बच्चे) के लिए उच्च-गुणवत्ता वाली शिक्षा तक पहुँच सुनिश्चित करना है। यह कार्यक्रम CWSN को आवश्यक शैक्षिक सहायता और संसाधन प्रदान करता है।
इसमें पहचान और मूल्यांकन शिविर, सहायक उपकरण और संसाधन, परिवहन सुविधा, लेखक और अनुरक्षक भत्ता, ब्रेल और बड़े प्रिंट की किताबें, विशेष आवश्यकता वाली लड़कियों के लिए वजीफा और शिक्षण सामग्री शामिल हैं। इसके अलावा, केंद्र द्वारा प्रायोजित पीएम पोषण योजना सरकारी और सरकारी सहायता प्राप्त स्कूलों में प्री-प्राइमरी से कक्षा 8 तक के बच्चों को पोषण संबंधी सहायता प्रदान करती है।
अगली खबर
]Bihar DCECE 2024 Admit Card: बिहार डीसीईसीई एडमिट कार्ड जारी, bceceboardapl.bihar.gov.in से करें डाउनलोड
परीक्षा के लिए पंजीकृत उम्मीदवार बोर्ड की आधिकारिक वेबसाइट bceceboard.bihar.gov.in के माध्यम से एडमिट कार्ड डाउनलोड कर सकते हैं। बिहार डीसीईसीई परीक्षा 2024 इस वर्ष 22, 23 जून को आयोजित की जाएगी।
Santosh Kumar | 2 mins readविशेष समाचार
]- दिल्ली का भलस्वा स्लम: आधार कार्ड और गंदगी से गुम हुई शिक्षा
- Nobel Prize in Economics 2025: जोएल मोकिर, फिलिप एगियन और पीटर हॉविट को मिलेगा अर्थशास्त्र का नोबेल पुरस्कार
- भारत में 33 लाख से अधिक छात्र एकल-शिक्षक स्कूलों पर निर्भर, उत्तर प्रदेश में सर्वाधिक नामांकन
- Nobel Peace Prize 2025: वेनेजुएला की मारिया कोरिना मचाडो को मिलेगा नोबेल शांति पुरस्कार, 10 दिसंबर को समारोह
- Nobel Prize in Chemistry 2025: सुसुमु कितागावा, रिचर्ड रॉबसन, उमर एम याघी को मिलेगा केमिस्ट्री का नोबेल प्राइज
- Nobel Prize in Physics 2025: जॉन क्लार्क, माइकल एच डेवोरेट और जॉन एम मार्टिनिस को मिला भौतिकी का नोबेल प्राइज
- CAT 2025: कैट परीक्षा 30 नवंबर को 3 पाली में; 2 महीने में कैसे करें तैयारी? जानें एग्जाम पैटर्न, चयन प्रक्रिया
- UP News: यूपी में वजीफा से वंचित 5 लाख से अधिक छात्रों को दिवाली से पहले मिलेगी छात्रवृत्ति, सीएम योगी ने कहा
- NIRF Ranking 2025: यूनिवर्सिटी श्रेणी में डीयू 5वें स्थान पर, टॉप 20 में दिल्ली विश्वविद्यालय के 10 कॉलेज
- NIRF MBA Ranking 2025: आईआईएम अहमदाबाद शीर्ष पर बरकरार, आईआईएम लखनऊ की टॉप 5 में वापसी, देखें लिस्ट