UP News: यूपी में कक्षा 6 से 8 तक की एनसीईआरटी की किताबों में वैदिक गणित को किया जाएगा शामिल
Santosh Kumar | July 9, 2025 | 07:05 PM IST | 2 mins read
प्रयागराज स्थित राज्य विज्ञान शिक्षा संस्थान (एसआईएसई), जिसे पाठ्यक्रम विकास का कार्य सौंपा गया है, इसके विशेषज्ञ कार्यान्वयन की निगरानी करेंगे।
नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश सरकार ने घोषणा की है कि शैक्षणिक सत्र 2025-26 से कक्षा 6 से 8 तक की एनसीईआरटी की किताबों में वैदिक गणित को शामिल किया जाएगा। यह नियम सभी सरकारी स्कूलों में लागू होगा। इसे पढ़ाई में शामिल करने का उद्देश्य बच्चों की गणना क्षमता को बढ़ाना, गणित के प्रति भय को कम करना और भारतीय ज्ञान परंपरा को पुनः बढ़ावा देना है। यह कदम नई शिक्षा नीति 2020 के तहत उठाया गया है।
बेसिक शिक्षा विभाग के अधिकारियों ने पुष्टि की है कि यूपी राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (एससीईआरटी) ने वैदिक गणित की विषयवस्तु को एनसीईआरटी पाठ्यक्रम में शामिल करने के लिए औपचारिक निर्देश जारी कर दिए हैं।
प्रयागराज स्थित राज्य विज्ञान शिक्षा संस्थान (एसआईएसई), जिसे पाठ्यक्रम विकास का कार्य सौंपा गया है, के विशेषज्ञ इसके कार्यान्वयन की निगरानी करेंगे। इस योजना से कक्षा 6 से 8 तक के 30 लाख से अधिक छात्र लाभान्वित होंगे।
वैदिक गणित को किया जाएगा शामिल
एसआईएसई के निदेशक अनिल भूषण चतुर्वेदी ने कहा, "हम एनसीईआरटी की किताबों को वैदिक गणित से अपडेट कर रहे हैं। इससे छात्रों को भारत की ज्ञान परंपरा से जुड़ने और गणित की उनकी समझ बेहतर बनाने में मदद मिलेगी।"
कक्षा 6 से 8 तक में इस्तेमाल की जाने वाली वर्तमान एनसीईआरटी गणित की पुस्तक "गणित प्रकाश" अपनी गुणवत्ता और संरचित दृष्टिकोण के लिए जानी जाती है, लेकिन इसमें वैदिक गणित से संबंधित कोई सामग्री नहीं है।
इसी तरह, उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा परिषद की "गणित मंथन" पुस्तकों में अभी वैदिक गणित की तकनीकों का केवल सीमित संदर्भ ही है। अब हिंदी और अंग्रेजी दोनों माध्यमों की पुस्तकों में बदलाव करके इन कमियों को दूर किया जाएगा।
एसआईएसई को मॉडल पेपर की जिम्मेदारी
बता दें कि एसआईएसई के विषय विशेषज्ञ यूपी बोर्ड से संबद्ध स्कूलों में पढ़ने वाले कक्षा 11 और 12 के विज्ञान वर्ग के छात्रों के लिए गणित, भौतिक विज्ञान, रसायन विज्ञान और जीव विज्ञान के 25-25 मॉडल पेपर भी तैयार करेंगे।
इससे पहले, केवल कक्षा 9 और 10 के लिए ही मॉडल पेपर तैयार किए जाते थे। इस बार पहली बार संस्थान को कक्षा 11 और 12 के लिए भी पेपर तैयार करने की जिम्मेदारी दी गई है। यह जानकारी एसआईएसई के निदेशक ने दी।
इनपुट्स-हिंदुस्तान टाइम्स
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