Chhattisgarh News: स्टूडेंट्स को कुत्ते का जूठा भोजन परोसा; 78 छात्रों को लगाया रेबीज का टीका, जांच जारी

Press Trust of India | August 3, 2025 | 06:49 PM IST | 2 mins read

अधिकारी ने बताया कि स्कूल में मिड-डे मील के लिए बनी सब्ज़ियां आवारा कुत्ते द्वारा दूषित कर दिया। फिर भी, छात्रों को सब्ज़ियां परोसी गईं।

बच्चों ने घर जाकर अपने परिजनों को घटना की जानकारी दी और फिर इसकी शिकायत शिक्षकों और स्कूल समिति के अध्यक्ष से की। (प्रतीकात्मक-विकिमीडिया कॉमन्स)
बच्चों ने घर जाकर अपने परिजनों को घटना की जानकारी दी और फिर इसकी शिकायत शिक्षकों और स्कूल समिति के अध्यक्ष से की। (प्रतीकात्मक-विकिमीडिया कॉमन्स)

बलौदाबाजार: छत्तीसगढ़ के बलौदाबाजार जिले के एक स्कूल में छात्रों को कथित तौर पर कुत्ते का जूठा भोजन परोसे जाने की शिकायत के बाद ग्रामीणों और अभिभावकों के दबाव में 78 विद्यार्थियों को रेबीज रोधी टीका लगाया गया। अधिकारियों ने बताया कि जिले के पलारी विकासखंड के लछनपुर गांव के माध्यमिक शाला में 29 जुलाई को मध्यान्ह भोजन को कथित तौर पर कुत्ते द्वारा जूठा किए जाने के बाद 78 बच्चों को एंटी रेबीज का टीका लगाया गया।

एक अधिकारी ने बताया कि स्कूल में मध्याह्न भोजन के लिए बनी सब्ज़ियों को एक आवारा कुत्ते ने दूषित कर दिया। कुछ छात्रों ने शिक्षकों को इसकी सूचना दी। फिर शिक्षकों ने खाना बनाने वाले समूह को बच्चों को यह खाना न परोसने का निर्देश दिया।

लेकिन उन्होंने यह कहते हुए सब्जियां परोस दीं कि वह जूठी नहीं थीं। कुल 84 छात्रों ने खाना खाया। इसके बाद बच्चों ने घर जाकर परिजनों को घटना की जानकारी दी तब इसकी शिकायत शिक्षकों और शाला समिति के अध्यक्ष झालेंद्र साहू से की।

78 बच्चों को रेबीज रोधी का टीका लगाया

स्कूल प्रशासन ने बताया कि उन्होंने रसोइयों को जूठा खाना नहीं परोसने के लिए कहा था। अधिकारियों ने बताया कि इसके बाद अभिभावक बच्चों को नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र ले गए, जहां 78 बच्चों को रेबीज रोधी का टीका लगाया।

उन्होंने बताया कि अभिभावकों और ग्रामीणों के दबाव में बच्चों की सुरक्षा को देखते हुए टीका लगाया गया। शर्मा ने बताया कि घटना के बाद पलारी क्षेत्र के अनुविभागीय दंडाधिकारी दीपक निकुंज ने मामले की जांच शुरू की है।

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सीएम को पत्र लिखकर जांच की मांग

अनुविभागीय दंडाधिकारी ने बच्चों, अभिभावकों, शिक्षकों और शाला समिति के सदस्यों के बयान दर्ज किए हैं। हालांकि, स्वयं सहायता समूह के सदस्य जांच में शामिल नहीं हुए हैं। सभी पक्षों के बयान लिए जा रहे हैं इसके बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।

स्थानीय विधायक ने सीएम को पत्र लिखकर जांच की मांग की। साथ ही सवाल उठाया कि बच्चों को रेबीज रोधी टीका किसके आदेश पर लगाया गया। ग्रामीणों ने स्वयं सहायता समूह को हटाने और उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है।

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