सीबीएसई ने प्रस्तावित पाठ्यक्रमों, नौकरी की भूमिकाओं, उम्मीदवार चयन, प्रशिक्षण के लिए पूर्व-आवश्यकताओं, वित्तीय प्रावधानों और बहुत कुछ के बारे में जानकारी प्रदान की।
Alok Mishra | October 12, 2023 | 06:24 PM IST
नई दिल्ली: केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना (पीएमकेवीवाई) 4.0 के कार्यान्वयन के हिस्से के रूप में संबद्ध स्कूलों को अपने परिसर में कौशल केंद्र शुरू करने को कहा है। सरकार ने केंद्रीय बजट 2023 में यह योजना शुरू की।
बोर्ड ने जारी आधिकारिक नोटिस में कहा, "सीबीएसई से संबद्ध सभी स्कूल (निजी और सरकारी), विशेष रूप से वे स्कूल जो अपने यहां कौशल विषयों की पेशकश कर रहे हैं, उन्हें दिए गए दिशानिर्देशों और मानदंडों के अनुसार अपने परिसर में कौशल केंद्र शुरू करने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है।"
सीबीएसई ने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) 2020 में स्कूलों में कौशल विकास को बढ़ावा देने की आवश्यकता पर जोर दिया गया है। शिक्षा नीति का उद्देश्य कौशल शिक्षा और प्रशिक्षण कार्यक्रमों को स्कूली पाठ्यक्रम में शामिल करना है। इसमें कहा गया है, "स्कूलों में कौशल को बढ़ावा देने से छात्रों को उनके चुने हुए कॅरियर में सफल होने और देश की आर्थिक वृद्धि में योगदान करने के लिए आवश्यक कौशल और ज्ञान प्राप्त होने की उम्मीद है।"
बोर्ड ने योजना के बारे में बात की और कहा कि कौशल विकास और उद्यमिता मंत्रालय (एमएसडीई) उद्योग जगत के लिए प्रशिक्षित कार्यबल तैयार करने और युवाओं के रोजगार कौशल को बढ़ाने के लिए 2015 से पीएमकेवीवाई संचालित कर रहा है। यह योजना स्कूल छोड़ने वाले, कॉलेज छोड़ने वाले, स्कूल न जाने वाले बच्चों और 15-45 वर्ष की आयु वर्ग के बेरोजगार युवाओं को ध्यान में रखकर तैयार की गई है।
योजना के तहत, छात्रों को मांग वाले, उद्योग आधारित कौशल पाठ्यक्रम की पेशकश की जाती है। कौशल शिक्षा और प्रशिक्षण प्रदान करने के लिए विद्यालयीन समय के बाद या छुट्टी के दिनों में स्कूलों के मौजूदा बुनियादी ढांचे को 'कौशल केंद्र' के रूप में उपयोग करने पर विचार किया गया है। वर्ष 2021-22 में, सीबीएसई ने पायलट आधार पर चयनित स्कूलों में पीएमकेवीवाई 3.0 के तहत 'स्किल हब' की शुरुआत और क्रियान्वयन का काम किया।
बोर्ड ने पीएमकेवीवाई 4.0, प्रस्तावित पाठ्यक्रमों, नौकरी के अवसरों, उम्मीदवारों के चयन, पात्रता मानदंड, वित्तीय सहायता और योजना के कार्यान्वयन के तौर-तरीकों पर संक्षिप्त जानकारी भी जारी की।